प्रदेश के 80 हजार बुजुर्गों को मिलेगी पेंशन, 2500 निराश्रित बेटियों का विवाह कराएगी सरकार

देहरादून। प्रदेश के 80 हजार बुजुर्गों को समाज कल्याण की पेंशन योजना का लाभ मिलेगा। एक परिवार में दंपत्ति को पेंशन देने की व्यवस्था के बाद आए सभी नए आवेदकों को अप्रैल से पेंशन देने की तैयारी है। इसके साथ ही कोरोना काल में अनाथ हुई और निराश्रित बालिकों के विवाह की जिम्मेदारी भी सरकार लेगी। इनकी संख्या फिलहाल 2500 से ज्यादा है।
सोमवार को विधानसभा में समाज कल्याण विभाग की समीक्षा के बाद मीडिया से बातचीत में परिवहन मंत्री चंदनराम दास ने यह जानकारी दी। उन्होंने कहा कि वृद्धावस्था पेंशन के समान ही दिव्यांग पेंशन में भी पुत्र अथवा पौत्र के 20 साल की कम आयु का होने की शर्त को खत्म किया जा रहा है। जल्द ही इसका जीओ जारी कर दिया जाएगा। दिव्यांगों को दिए जाने वाले उपकरणों की सीमा को भी बढ़ाया जा रहा है।
उन्होंने कहा कि वृद्धावस्था पेंशन योजना में रियायत देने के बाद विभाग ने पात्र लोगों से आवेदन मांगे थे। पूरे प्रदेश में 80 लोगों ने इस पेंशन के लिए आवेदन किया। इन सभी को शामिल किया जा रहा है। इन्हें मिलाकर राज्य में समाज कल्याण की पेंशन से लाभ पाने वाले लोगों की संख्या 8.30 लाख तक हो जाएगी। आरक्षित वर्ग के मेधावी छात्रों को प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कराने के लिए प्रदेश में सात कोचिंग सेंटर तय किए गए हैं। यहां उन्हें निशुल्क कोचिंग दी जाएगी। इसका पूरा खर्च सरकार उठाएगी।

बहुद्देश्यीय वित्त विकास निगम लाएगा ओटीएस स्कीम:  समाज के आर्थिक रूप से कमजोर लोगों को स्वरोजगार के लिए दिए गए 22 करोड़ रुपये के लोन की वापसी के लिए सरकार ने वन टाइम सेटलमेंट स्कीम की मंजूरी दे दी। बहुद्देश्यीय वित्त विकास निगम को लेनदारों को कर्ज अदायगी के लिए प्रेरित करने को सरल योजना लाने के निर्देश दिए गए हैं। मंत्री ने बताया कि पिछले काफी समय से 22 करोड़ रुपये कर्ज में फंसे हैं।

सहायक समाज कल्याण अधिकारी का ब्लॉक में आफिस:  सहायक समाज कल्याण अधिकारियों को ब्लॉक में अपना कार्यालय मिलेगा। मंत्री ने कहा कि इसके लिए प्रस्ताव मांग लिया गया है। कार्यालय के साथ ही कंप्यूटर और एक सहायक भी दिया जाएगा।
  प्रदेश के दिव्यांग मेधावियों को सरकारी सेवाओं में आरक्षण का शतप्रतिशत पालन कराया जाएगा। सभी आयेागों को इस बाबत पत्र भेजा जा रहा है कि दिव्यांगों के लिए तय चार प्रतिशत आरक्षण को सख्ती से लागू किया जाए।  -चंदनराम दास, समाज कल्याण मंत्री