देहरादून(आरएनएस)। कैबिनेट मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल के इस्तीफे के बाद अब कांग्रेस ने गाली प्रकरण में विधानसभा अध्यक्ष ऋतु खंडूड़ी भूषण और भाजपा प्रदेशाध्यक्ष महेंद्र भट्ट के इस्तीफे की मांग है। पार्टी का आरोप है कि यदि भाजपा ऐसा नहीं करती है तो यह समझा जाएगा कि सत्ताधारी पार्टी राजनीतिक लाभ के लिए पहाड़-मैदान का खेल खेल रही है। इस संबंध में शुक्रवार को कांग्रेस मुख्यालय भवन में नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य और पूर्व विधानसभा अध्यक्ष गोविंद सिंह कुंजवाल ने संयुक्त रूप से एक पत्रकार वार्ता को संबोधित किया। नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि बजट सत्र के दौरान जिस तरीके से विधानसभा में तत्कालीन संसदीय कार्यमंत्री ने असंसदीय भाषा का प्रयोग किया वह संसदीय इतिहास में अप्रत्याशित है। विधानसभा अध्यक्ष को तत्काल उसको रिकॉर्ड से निकालने के आदेश देने चाहिए थे और उन्हें असंसदीय भाषा के प्रयोग के लिए टोकना चाहिए था, लेकिन उन्होंने ऐसा नहीं किया।
उन्होंने कहा कि इस दौरान सदन के अंदर नेता सदन भी मौजूद थे, उन्होंने भी कोई हस्तक्षेप नहीं किया। जबकि पहली बार विधानसभा में चुनकर आए कांग्रेस विधायक लखपत बुटोला ने तत्कालीन संसदीय कार्य मंत्री के बयान पर शालीनता से अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त करनी चाही, लेकिन विधानसभा अध्यक्ष का जो व्यवहार उनके प्रति था, उसे स्वीकार नहीं किया जा सकता। इसी तरह से भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष महेंद्र भट्ट ने भी आंदोलनकारी जनमानस के लिए गलत शब्द का प्रयोग किया। उन्होंने कहा कि जिस प्रकार की कार्रवाई मंत्री प्रेमचंद पर हुई, उसी प्रकार विधानसभा अध्यक्ष और महेंद्र भट्ट के खिलाफ भी कार्रवाई होनी चाहिए।
पूर्व विधानसभा अध्यक्ष गोविंद सिंह कुंजवाल ने आरोप लगाया कि भाजपा पहाड़ और मैदान में राज्य को बांटना चाहती है। इसीलिए भाजपा की लीडरशिप अपने तत्कालीन मंत्री, विधानसभा अध्यक्ष और प्रदेश अध्यक्ष के दुर्व्यवहार पर भी मौन धारण किए हुए है। उन्होंने विधानसभा अध्यक्ष और भाजपा प्रदेश अध्यक्ष पर भी कार्रवाई की मांग की। उन्होंने कहा कि तभी यह संदेश जाएगा कि भाजपा राज्य को समान दृष्टि से देखती है।
गाली प्रकरण में कांग्रेस ने मांगा विस अध्यक्ष और भाजपा प्रदेशाध्यक्ष का इस्तीफा
